परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने कहा कि देश में विद्युत उपभोक्ता अधिकार कानून 2020 लागू हो गया है, जिसकी धारा 10 में सभी को 24 घंटे विद्युत आपूर्ति का प्रावधान है। फिर उत्तर प्रदेश में शहरी आपूर्ति और ग्रामीण आपूर्ति के आधार पर दर बढ़ाना नियम संगत नहीं है। पहले ही विद्युत नियामक आयात में सप्लाई टाइप बदलकर आपूर्ति बढाकर पूरे प्रदेश में उपभोक्ताओं से गलत तरीके से करोड़ों रुपया वसूला जा रहा है। निदेशक मंडल की बैठक में विद्युत वितरण निगमों को ग्रामीण फीडर समाप्त कर उसे शहरी फीडर में बदलने का अधिकार देना असंवैधानिक है। इससे विद्युत उपभोक्ताओं की बिजली दरों को डेढ़ गुना बढोतरी हो जाएगी।